बलिया में एटीएस की कार्रवाई: पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी से जुड़े संदिग्धों की गिरफ्तारी की तैयारी

बलिया में एटीएस की कार्रवाई: पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी से जुड़े संदिग्धों की गिरफ्तारी की तैयारी

March 6 2025 उत्तर बलिया जिले में पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी (पीआईओ) से जुड़े संदिग्ध गतिविधियों को लेकर प्रशासन में खलबली मची हुई है। हाल ही में अयोध्या में एक आतंकी की गिरफ्तारी के बाद से खुफिया विभाग ने नए सिरे से जांच शुरू कर दी है। उत्तर प्रदेश एटीएस (एंटी टेररिस्ट स्क्वाड) ने तीन युवकों के मोबाइल फोन खंगालने के बाद जांच तेज कर दी है। इस कार्रवाई को लेकर स्थानीय खुफिया एजेंसी और प्रशासन में उच्च सतर्कता बरती जा रही है।

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बलिया मे कहा कहा हुई थी छापेमारी

एटीएस ने तीन दिन पहले बलिया जिले के सुखपुरा, दुबहड़ और दोकटी थाना क्षेत्रों में छापेमारी की थी। इन छापेमारी में तीन संदिग्ध युवकों से पूछताछ की गई, जिनके पास से मोबाइल फोन बरामद किए गए। जानकारी के अनुसार, इन युवकों में से एक व्यक्ति मुंबई स्थित एक निजी शिपिंग कंपनी में काम करता था और वह पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी की महिला एजेंट इशिका कपूर से लगातार से संपर्क में था।

सुखपुरा के बोडिया गांव में स्थित राहुल सिंह के घर पर हुई छानबीन के दौरान, एटीएस ने उससे पाकिस्तानी एजेंट इशिका कपूर के साथ संबंधों के बारे में पूछताछ की। हालांकि राहुल ने इशिका से किसी भी तरह की बातचीत या चैटिंग से इनकार किया। लेकिन जांच एजेंसियों का मानना है कि इन मोबाइल फोन में अहम जानकारी हो सकती है, जो आगे की कार्रवाई के लिए रास्ता खोल सकती है।

संदिग्ध हैंडलर अब्दुल रहमान की गिरफ्तारी के बाद

पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी से जुड़े इस संदिग्ध नेटवर्क का मामला पिछले कुछ समय में कई चौकाने वाली गिरफ्तारियों और सूचनाओं के बाद सामने आया है। फरीदाबाद से एक संदिग्ध हैंडलर अब्दुल रहमान की गिरफ्तारी के बाद, इस मामले में नई जानकारियां मिल रही हैं। एटीएस ने इस पूरे मामले को गंभीरता से लिया है, और यदि जांच में कोई भी संदिग्ध गतिविधि सामने आती है तो इन युवकों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जा सकती है।

इस छापेमारी के बाद से बलिया के संदिग्ध युवकों के परिवारों में चिंता का माहौल है। परिजनों का कहना है कि एटीएस ने तीनों युवकों को आजमगढ़ बुलाया है, जहां उनकी पूछताछ और मोबाइल फोन की जांच की जाएगी। कार्रवाई के डर से कुछ युवक खुद को पुलिस के समक्ष पेश करने में हिचकिचा रहे हैं।

इस स्थिति में स्थानीय प्रशासन और खुफिया विभाग की टीम चुप्पी साधे हुए है, लेकिन उच्च अधिकारियों का कहना है कि जांच पूरी तरह से जारी है और किसी भी संदिग्ध गतिविधि को नज़रअंदाज़ नहीं किया जाएगा।

यह मामला न केवल बलिया, बल्कि पूर्वांचल क्षेत्र में सुरक्षा और खुफिया तंत्र की गंभीरता पर भी सवाल उठा रहा है। एटीएस की कार्रवाई ने यह साफ कर दिया है कि प्रदेश में आतंकी गतिविधियों और विदेशी खुफिया एजेंसियों से जुड़े नेटवर्क को लेकर सुरक्षा एजेंसियां पूरी तरह से अलर्ट हैं।

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